नाबालिग के आरोप पर बृज भूषण के खिलाफ नहीं मिला सबूत, POCSO की धाराएं हटाई गईं
नाबालिग के आरोप पर बृज भूषण के खिलाफ नहीं मिला सबूत, POCSO की धाराएं हटाई गईं
नाबालिग मामले की चार्जशीट के मुताबिक आरोपों की गहन जांच की गई, लेकिन WFI चीफ के खिलाफ कोई सबूत नहीं मिला। ऐसे में जांच टीम की ओर से पटियाला हाउस कोर्ट में केस को रद्द करने के लिए रिपोर्ट लगाई गई। इस पर अब अगली सुनवाई 1 जुलाई को होगी।
दिल्ली पुलिस ने क्या कहा?
वहीं चार्जशीट दाखिल करने के बाद दिल्ली पुलिस ने कहा कि POCSO मामले में जांच पूरी होने के बाद, हमने शिकायतकर्ता यानी नाबालिग के पिता और स्वयं पीड़िता के बयानों के आधार पर मामले को रद्द करने का अनुरोध किया है। इसको लेकर धारा 173 CrPC के तहत रिपोर्ट भी कोर्ट में पेश की गई।
बयान से पलट गई थी नाबालिग
अभी कुछ दिनों पहले नाबालिग पहलवान अपने बयान से पलट गई थी। उसने कहा था कि काफी मेहनत के बाद उसका चयन नहीं हुआ, ऐसे में वो डिप्रेशन में थी। इस वजह से उसने गुस्से में WFI चीफ पर आरोप लगाए। वहीं मामला नाबालिग का था, ऐसे में POCSO एक्ट की धाराएं भी लगी थीं, जिसे अब हटा लिया गया है।
सरकार से भी हुई थी बात
पहलवानों ने कई दिनों तक जंतर-मंतर पर धरना दिया, लेकिन 28 मई को उनको वहां से हटा दिया गया। इसके बाद उन्होंने गृहमंत्री अमित शाह और खेल मंत्री के साथ बैठक की। दोनों से आश्वसन मिलने के बाद उन्होंने अपने प्रदर्शन को टाल दिया था।
क्या था पहलवानों का आरोप?
कुल 6 शिकायतें बृज भूषण के खिलाफ हुई थीं। जिसमें महिला पहलवानों ने आरोप लगाए कि WFI चीफ ने उनको गलत जगहों पर छुआ। एक महिला पहलवान ने कहा था कि उनको बृज भूषण ने अपने कमरे में खींचने की कोशिश की थी।
आपकी प्रतिक्रिया क्या है?