शेर
                                मुस्कुराता फिर रहा है सुबह से वो शहर में,
शाम को सारी उदासी अपने घर ले जाएगा
- बशीर बद्र
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शाम को सारी उदासी अपने घर ले जाएगा
- बशीर बद्र