'2015 से मुझे झूठे केसों में फंसाने की कोशिश कर रही सरकार' - केजरीवाल
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सोमवार को एक्स(formerly twitter) कर कहा, ‘यह 2015 की घटना है। मोदी सरकार 2015 से मुझे झूठे केसों में फंसाने की कोशिश कर रहे है। लोगों पर तरह तरह के दबाव बना कर उन्हें मेरे खिलाफ बयान देने के लिए कहा जाता है।'
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उन्हें झूठे मामलों में फंसाने की कोशिश कर रहे हैं। केजरीवाल ने सोमवार को एक्स कर कहा,‘‘यह 2015 की घटना है। मोदी सरकार 2015 से मुझे झूठे केसों में फंसाने की कोशिश कर रहे है। लोगों पर तरह तरह के दबाव बना कर उन्हें मेरे खिलाफ बयान देने के लिए कहा जाता है। कई लोगों को तो यातनाएँ भी दी गई है।'' उन्होंने कहा,‘‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी देश के लिए काम करने के बजाय 24 घंटे अपने विरोधियों को झूठे मामलों में फँसाने के षड्यंत्र रचते रहते हैं।'' वहीं आप नेताओं का यह भी आरोप है कि भारतीय जनता पार्टी और उनके नेता आप पार्टी की लोकप्रियता और विस्तार से डरे हुए हैं।
आम आदमी पार्टी (आप) ने कहा कि सीमित संसाधनों को ध्यान में रखते हुए पूर्वोत्तर के आठ राज्यों में संगठन का निर्माण करना और चुनाव लड़ना काफी कठिन है इसके बावजूद वहाँ के लोगों की अकांक्षाओं को ध्यान में रखते हुए पार्टी ने मिजोरम में चुनाव लड़ने का फ़ैसला किया है। आप के पूर्वोत्तर राज्यों के प्रभारी राजेश शर्मा ने सोमवार को यहाँ संवाददाता सम्मेलन में मिजोरम विधानसभा चुनाव लड़ने की घोषणा की।
उन्होंने बताया कि रविवार को पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल की अध्यक्षता में हुई बैठक में पूर्वोत्तर राज्यों में संगठन विस्तार और चुनाव लड़ने का निर्णय लिया गया। संगठन विस्तार के लिए समन्वय समिति और पूर्वोत्तर प्रकोष्ठ का गठन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि पूर्वोत्तर की जनता शिक्षा, स्वास्थ्य, महंगाई और बेरोजगारी समेत कई समस्याओं से जूझ रही है। लोगों को यकीन है कि इन समस्याओं का समाधान सिफर् आम आदमी पार्टी दे सकती है।
उन्होंने कहा कि हमारे सीमित संसाधनों को ध्यान में रखते हुए पूर्वोत्तर में संगठन का निर्माण करना और चुनाव लड़ना काफी कठिन है। इसके बावजूद लोगों की आशा और अकांक्षाओं को ध्यान में रखते हुए पार्टी मिजोरम से चुनाव लड़ने की शुरुआत करने जा रही है। पूर्वोत्तर के राज्यों में भ्रष्टाचार और लूटतंत्र जैसी कई गंभीर समस्याएं हैं। इन राज्यों के मुख्यमंत्री राज्य को अपनी खानदानी जागीर समझते हैं और सारे सरकारी ठेके अपने परिवार वालों और मित्रों को देते हैं।
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