4 बहुओं के साथ साक्षरता परीक्षा में सास भी हुईं शामिल
मुख्यमंत्री अक्षर आंचल योजना के तहत नव साक्षर महिलाओं की बुनियादी महापरीक्षा में सास और बहू का परीक्षा देने पूरे ज़िले में चर्चा का विषय बना हुआ है।
शिक्षा हासिल करने के लिए उम्र की सीमा नहीं होती, इस बात को बिहार के नालंदा जिले की सास और बहू ने चरितार्थ कर दिखाया है। सास और बहुओं की परीक्षा पूरे इलाके में सुर्खियों बटोर रही हैं। जो भी इनके बारे में सुन रहा है तारीफ़ करते नहीं थक रहा है। दरअसल सास अपनी चार बहुओं के साथ बुनियादी साक्षरता परीक्षा देने पहुंची थी। पांचों महिलाओं की परीक्षा इलाके में चर्चा का विषय बनी हुई है। साक्षरता परीक्षा के लिए 10 हज़ार 980 महिलाओं ने रजिस्ट्रेशन करवाया था। इस परीक्षा में 9 हज़ार 698 नव साक्षर महिलाएं हाज़िर हुईं।
आपको बता दें कि बीते रविवार को बिहार में मुख्यमंत्री अक्षर आंचल योजना के तहत नव साक्षर महिलाओं की बुनियादी महापरीक्षा आयोजित की गई थी। नालंदा जिले में हुई महापरीक्षा में मां, बेटी, सास और बहू एक साथ परीक्षा में शामिल हुई। इस दौरान चार बहूओं के साथ सास का परीक्षा देना, चर्चा का विषय बना रहा। यह नज़ारा आदर्श मध्य विद्यालय (चंडी प्रखंड) में देखने को मिला। चार बहुओं के साथ साक्षरता परीक्षा देने पहुंची सास सिवारती देवी काफी खुश नज़र आ रही थी।
सिवारती ने कहा कि चार बहुओं के साथ साक्षरता परीक्षा देने का अनुभव अच्छा रहा है। वहीं परीक्षा देने आई छोटी बहु ने कहा कि, सभी लोगों ने करीब 6 महीने में नाम लिखना और बोलकर पढ़ना सीखा है। थोड़ी बहुत जोड़ और घटा भी कर लेती हैं। पांचों लोगों ने घर का सारा काम ख़त्म करने के बाद परीक्षा देने पहुंची थी। सास के साथ सिवारती देवी के साथ शोभा देवी, सीमा देवी, बिन्दी देवी और वीणा देवी साक्षरता परीक्षा देने पहुंची थी। वहीं रत्नेश चौधरी (शिक्षक) ने कहा कि 724 महिलाओं में से 534 महिलाएं ने परीक्षा में शामिल हुई। 15 साल की उम्र से लेकर 45 साल की उम्र तक की महिलाएं यह परीक्षा दे सकती हैं।
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